उत्तराखंड

सुझाव व सफलता की कहानियों से निकलेगा पलायन का समाधान : नेगी

ग्रामीण विकास एवं पलायन आयोग मुख्यालय के कार्यालय की तलाश में पौड़ी पंहुचे आयोग के उपाध्यक्ष :

पौड़ी। ग्रामीण विकास एवं पलायन आयोग के उपाध्यक्ष शरदसिंह नेगी ने बड़ी साफगोई से कहा कि उत्तराखण्ड के गांव से पलायन का कोई किताबी समाधान नहीं निकाला जाएगा। जन-जन की रायशुमारी और सक्सेज स्टोरियों से ही कोई सर्वमान्य माॅडल सामने आएगा। किसी दूसरे राज्य के माॅडल से भी कोई हल निकलने वाला नहीं क्योंकि उत्तराखण्ड विविध भौगोलिक परस्थितियों व सामाजिक ताने-बाने वाला राज्य है। आयोग के उपाध्यक्ष बनने के बाद अपने गृह नगर व आयोग के मुख्यालय पौड़ी पंहुचे नेगी ने पत्रकारों से बातचीत में कहा कि उत्तराखण्ड अकेला राज्य नहीं है जहां से पलायन हुआ है लेकिन देश का पहला राज्य बन गया है जहां पलायन को लेकर चिंतन के बाद आयोग का गठन हुआ है। उन्होंने कहा कि गांव से पलायन रोकने का समाधान ग्रामीण विकास से ही निकलेगा। इसके लिए वे पूरे प्रदेश के लोगों से सुझाव ले रहे हैं और जो सफल स्टोरी हैं उनका अध्ययन कर रहे हैं।

आयोग के उपाध्यक्ष ने कहा कि अर्थव्यवस्था बढ़ने के साथ गांव से पलायन का प्रतिशत बढ़ना सतत प्रक्रिया है। जानकारी दी कि आयोग का मुख्यालय जल्द ही पौड़ी में खुलेगा जिसके लिए कार्यालय की तलाश में वे पौड़ी आएा हैं। आयोग में मुख्यमंत्री की अध्यक्षता में 9 सदस्य हैं इसके अलावा आवश्यकता पड़ने पर विशेषज्ञ सदस्यों को भी शामिल किया जाएगा। श्री नेगी ने कहा कि गांव से शहरों की ओर हो रहे पलायन को रोकना सरकार और आयोग की पहली प्राथमिकता है। बताया कि आंकड़ों के हिसाब से पौड़ी और अल्मोड़ा जनपदों से सबसे ज्यादा पलायन हुआ है। अल्मोड़ा में माइनस 1.73, पौड़ी में माइनस 1.51 के अलावा प्रदेश की औसत जनसंख्या बृद्धि के अनुसार टिहरी जिले में मात्र 1.93, रुद्रप्रयाग में 4 और चमोली में 5 प्रतिशत जनसंख्या बृद्धि हुई है। मैदानी क्षेत्रों में राज्य की औसत जनसंख्या से अधिक जनसंख्या बढ़ी है। देहरादून राजधानी में 32 प्रतिशत, हरिद्वार में 33 प्रतिशत जनसंख्या बढ़ी है। पौड़ी जिले में सबसे ज्यादा 331, अल्मोड़ा में 105 और हरिद्वार जनपद में भी 94 गांव गैर वसागत हुए हैं।

उन्होंने कहा कि उत्तराखण्ड राज्य की भौगोलिक परस्थिति विविध है इसलिए पूरे राज्य को फोकस कर समाधान निकालना होगा। उन्होंने दावा किया कि सरकार और आयोग की मंशा साफ है कि पलायन कम हो इसका समाधान निकालना ही है।

Key Words : Uttarakhand, Pauri, Migration commission, Solution

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button